18 Bewafa Shayari in Hindi for bf, जिस दौर में प्यार बिकता हो बाजार में

Bewafa Shayari in Hindi  for girlfriend boyfriend
Bewafa Shayari in Hindi font for girlfriend and boyfriend बेवफा शायरी

जिस दौर में प्यार बिकता हो बाजार में
वहाँ कैसे किसी को प्यार मिले…. बस इजहार में…………

  • जब उसे मेरा होना हीं नहीं था
    तो न जाने क्यों उसने, प्यार में बड़े-बड़े वादे किए थे मुझसे…………
  • कुछ इस तरह रुलाया उसने मुझे अपने प्यार में
    कि अब दिल के दर्द आँखों में आँसू तक नहीं ला पाते हैं………….
  • जो तेरे प्यार को ठुकरा दूँ, तो पत्थर दिल न समझना मुझे
    प्यार में कुछ इस तरह जख्म खाए हैं मैंने………
    कि प्यार की राह भाती नहीं मुझे, अब किसी की सूरत लुभाती नहीं मुझे…………
  • मत पूछो कि प्यार करने की क्या कीमत चुकाई है मैंने
    खुद को दांव पर लगाकर, अपने हाथों से अपनी हस्ती मिटाई है मैंने…………
  • जिंदगी तो तुमने ले हीं ली हमारी,
    तू बोले तो… मौत भी अपनी तेरे नाम कर दूँ
    तेरी बेवफाई के बदले, तुझे.. अपने प्यार का एक और ईनाम दूँ…………
  • मेरा साथ छोड़कर, दौलत वाले का हाथ थामा था तूने
    अब मैं रोज इतनी दौलत कमाता हूँ, कि हर दिन तुझे दौलत से तौल दूँ…………

तुम इठलाते हो अपनी बेवफाई पर
मुझे नाज है अपने प्यार करने के अंदाज पर…………
तुमने सबकुछ पाकर खुद को खो दिया
हमने सबकुछ खोकर पा लिया खुद को…………

  • तुम क्या सोचते हो, तुम मुझे ऐसे हीं भूल जाओगे
    मैं इस तरह सताऊंगा तुझे, कभी टीवी पर… तो कभी अख़बारों की सुर्ख़ियों में नजर आऊंगा तुझे…………
  • उस बेवफा की बेशर्मी तो देखो, खुद बेवफाई करके
    मुझे, बेवफा बताती है जमाने के सामने…………
  • किसी बेवफा से किसी को, कभी प्यार न हो
    दिल का आँगन भले सूना हीं रहे
    पर किसी बेवफा से कभी किसी की नजरें चार न हो………….
  • यूँ हर किसी के लिए अपना दिल बिछाया नहीं करते राहों में
    क्योंकि हर कोई सच्चा प्यार पाने के काबिल नहीं होता…………
  • अब न वो आती है, न उसकी याद आती है
    अब न उनसे हमारा सामना हो, दिल से बस यही फरियाद आती है………….

एक वो दौर भी था जब तुम भी थे और हम भी थे
अब तो बस तुम हो इस दुनिया में, हम कहीं भी नहीं…………

  • शिकवा करूं भी, तो कैसे करूं तुझसे
    अब तू बेगानी है, और मैं भी तेरा नहीं…………
  • प्यार ने इस कदर तोड़ दिया है हमें….
    कि जो लड़का, हर किसी के मुस्कुराहट की वजह बनता था
    अब वो दिल खोलकर ….. रो तक नहीं पाता है…………….
  •  जब दर्द भी मेरे हों, और दास्तान भी मेरी
    तो किसे इल्जाम दूँ, किसे हाल-ए-दिल सुनाऊँ…
  • ये भी एक दौर है तन्हाई का, ये दौर भी गुजर जायेगा
    कल मेरा भी कोई अपना होगा, किसी की आँखों में मेरे प्यार का सपना होगा….

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