Poem on Raksha Bandhan in Hindi – रक्षा बंधन पर कविता
Poem on Raksha Bandhan in Hindi rakhi kavita
- Raksha Bandhan Par Kavita in Hindi भैया तुम आ जाओ ना
- Poem on Rakhi for Brother in Hindi मेरे भैया
- Poem on Rakhi for sister in Hindi एक रेशम का धागा भर नहीं
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Raksha Bandhan Par Kavita in Hindi – Poem on Raksha Bandhan in Hindi rakhi kavita -
1st Raksha Bandhan Poem
भैया तुम आ जाओ ना…
बाज़ारों में राखी सजी है
अपनी भी कलाई में सजाने दो
रौनक हर जगह दिख रही है
मुझे भी उत्सव मनाने दो
नहीं चाहिए मेवे और उपहार बदले में,
तुम बस रक्षा का वचन निभाओ ना…
भैया तुम आ जाओ ना…
आओ मुझको तिलक लगाने दो
मैंने फिरसे पूजा की थाल सजाई है
देखो मैंने पसन्द की गुजिया बनाई है
साथ में लडडू और मिठाई है
नहीं है इस बार कोई शिकायत तुमसे,
तुम भी मन का बैर हटाओ ना…
भैया तुम आ जाओ ना…
– Jaya Pandey -
2nd
Raksha Bandhan Poem
काश – Poem on Raksha Bandhan in Hindi rakhi kavita
काश मेरा भी कोई भाई होता…
कभी मुझसे लड़ता
कभी मेरे लिए लड़ता
जब दुनिया होती विरुद्ध में
तब वो मेरे साथ चलता
जो भी मुख उठते अवहेलना के लिए
वह सब पर प्रहार करता
काश मेरा भी कोई भाई होता…
हंसता और हंसाता,
समझता और समझाता,
निराशा जो घेरती व्यूह में,
तब वो हौसला बढ़ाता,
‘रावण’ सा पराक्रमी होता वो भाई,
जो मेरे लिए भी शस्त्र उठाता,
कोई जो आहत करता स्वाभिमान को,
तब वो युद्ध का विगुल बजाता।
काश मेरा भी कोई भाई होता…
– Jaya Pandey
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Poem on Rakhi for Brother in Hindi – Poem on Raksha Bandhan in Hindi rakhi kavita
3rd
Raksha Bandhan Poem
मेरे भैया - मेरे भैया, अबकी बार राखी में नई रीत चलाओ तुम
अपनी बहन को आत्मरक्षा के गुर सिखाओ तुम……………………..
Well settled लड़का ढूंढने की बजाए, मुझे Economically Independent बनाओ तुम
जो मुझसे प्यार करे, उसे मेरा जीवनसाथी बनाओ तुम…………………………….
मेरे संग हमेशा रहना तुम, मेरी ताकत बनना तुम
मैं जो कभी कमजोर पड़ जाउँ, तो मेरी ढाल बन जाना तुम……………..
राखी की इस रीत को उम्र भर निभाना तुम
दुनियादारी के चक्कर में, मुझे मत भूल जाना तुम…………………………..
बेटी नहीं होती है पराई, ये बात माँ-बाबा को समझाना तुम
दहेज न कोई सामान देना तुम, मुझे तो मेरा स्वाभिमान देना तुम……………….
परम्पराओं को सबके साथ ख़ुशी-ख़ुशी निभाना तुम
पर मुझे कुप्रथाओं की चक्की में, पिसने से बचाना तुम…………………..
थोड़ी नकचढ़ी बहना हूँ मैं, और मेरे प्यारे भैया हो तुम……………………….
तुम्हारे नखरे सहती हूँ मैं, और मेरे नाज उठाते हो तुम
तो चलो एक-दूजे की हिम्मत बन जाएँ हम-तुम……………………..
भाई-बहन का रिश्ता होता है सबसे अनूठा, ये दुनिया को दिखाएँ हम-तुम
– अभिषेक मिश्र ( Abhi )
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~~भैया मेरे~~ 4th
Raksha Bandhan Poem
प्यारे-प्यारे भैया मेरे…
सबसे अच्छे भैया मेरे…
तुम हो मेरे रखवाले…
मुझसे ये राखी बन्धवाले…
तेरी रक्षा मैं करुगी..
मेरी रक्षा तुम करना..
तेरे साथ मैं चलूँगी..
मेरे साथ तुम चलना…
राखी का ये बंधन प्यारा..
इस बंधन को बांधे रखना..
टूटे ना रिश्तो का धागा…
मजबूत अपने इरादे रखना…
जब मैं तुमसे रूठ जाऊं..
तो तुम मुझे मनाना..
जब-जब मैं रोऊँ..
तुम मुझे हंसाना..
मेरे भैया दूर ना जाना..
मुझसे तुम राखी बंधवाना..
प्यारे प्यारे भैया मेरे …
सबसे अच्छे भैया मेरे…. – पूजा पाठक
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Poem on Rakhi for sister in Hindi
5thRaksha Bandhan Poem
एक रेशम का धागा भर नहीं…एक रेशम का धागा भर नहीं,एक हल्की सी गांठ ही नहीं,राखी एक बहन का प्यार है,ये कोई यूं ही दिन भर नहीं,भाई बहन के बंधन का त्योहार है!बंधन, लेकिन कैसा बंधन?बंधन हो कर भी बंधन नहीं,ये बंधन भी बहन के पंख हैं,भाई, बहन के लिए, मानो,मोतियों भरा शंख है…रक्षा करने का एक वादा,हमेशा साथ देने का इरादाहर भाई का बहन से,है एक कसम भी, साथ निभाने का,हक़ जताने का भाई पर है अवसर भी…पूर्णिमा की चाँद सा चमकीला,हर बहन को उसका भाई प्यारा,हर पल उसका साया, उसका सहारा…बहन का प्यार भी दिए की लोह सा,भाई पर हर पल सब कुर्बान करने को…एक रेशम का धागा भर नहीं,एक हल्की सी गांठ ही नहीं…राखी एक बहन का प्यार है,ये कोई यूं ही दिन भर नहीं,भाई बहन के बंधन का त्योहार है…
– विशाल शाहदेव
- राखी – 6th Raksha Bandhan Poem
राखी का त्यौहार है आया,
रंग-बिरंगी राखी लाया,
टाई बांधकर सूट पहनकर,
भैया बहिना को लेने आया,
बहना थाल सजाकर लाई,
तिलक किया, खिलाई मिठाई,
भैया की सज गई कलाई’
बहना ने भेंट है पाई,
बहन मन ही मन मुस्काई।
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– Pragya Gupta. -
**BHAIYA MERA SBSE ACHA ** – 7th
Raksha Bandhan Poem
Kya khoob bnaya hai tune Bhai-Bahan ka rishtaSath me khana , sath me rahna, sath me hai hasna -khelnaBayda liya tha,hamesha rahne ka sath-sathNibane deta aye khudaBhai se liya ye baydaDuniya ka sabse pyara bhandan hai Bhai-Bahan ka“Bhaiya mera sabse acha“Kahti rahti har bhahnaMuje to uske sath hi hai rahnaराखी 8th
Raksha Bandhan Poem
प्यारी तुम बहना मेरी,
हरदम संग मेरे,रहना तुम।
राखी के पावन दिन पे कभी,
मेरी कलाई सुनी,न रखना तुम।
बड़ी-बड़ी ख्वाहिशों को तरी,
पल भर में मै पूरा कर द्वगाँ।
बस तुझसे ये गुजारिश है मेरी,
मुझ से कुछ न छुपाना तुम।
बात-बात पे झगड़ना आदत है तुम्हारी,
पर मै कभी २न्ठ जाऊँ तो मनालेना तुम।
हेमा तुम थोड़े-बहुत नकचढ़ी हो,
पर सबसे प्यारी बहना हो तुम।
पूर्णिमा की चाँद जैसी चमकीली,
परियों से कम नही हो तुम।
आँसू तेरे नयन पे अच्छे न लगते,
गलती से भी कभी,मत रोना तुम।
दिल की सकून और जज्बातो से भरी है राखी।हाथों की शोभा,बधाती ये राखी।
By- vishal ranjan raj - रक्षाबंधन मैसेज फॉर ब्रदर – Raksha Bandhan Messages For Brother in Hindi
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